Dravya Vachak Sangya Ki Paribhasha और उदाहरण

आज हम जानेगे की Dravya Vachak Sangya Ki Paribhasha In Hindi | द्रव्यवाचक संज्ञा की परिभाषा उदाहरण सहित | द्रव्यवाचक संज्ञा का अर्थ | द्रव्यवाचक संज्ञा के उदाहरण के बारे में बताने वाले है.

Dravya Vachak Sangya Ki Paribhasha-

अब हम जानेंगे की द्रव्यवाचक संज्ञा क्या है | द्रव्यवाचक संज्ञा किसे कहते है | Definition Of Dravya Vachak In Hindi | Example Of Dravya Vachak In Hindi के बारे में बताने वाले है.

वे शब्द किसी ठोस, तरल, पदार्थ, धातु, अधातु या द्रव्य का बोध करते हैं, द्रव्यवाचक संज्ञा कहलाते हैं।
अर्ताथ
वह शब्द जो किसी वस्तु की द्रव्यता का बोध कराते हैं उन्हें द्रव्यवाचक संज्ञा कहा जाता है।

द्रव्यवाचक संज्ञा वह संज्ञा है जिसे मापा या तौला जा सकता है लेकिन गिना नहीं जा सकता उसे द्रव्यवाचक संज्ञा कहते है.

जैसे- लोहा, सोना, चांदी, हीरा, चीनी, फल, सब्ज़ी, कोयला, पानी, तेल, घी आदि द्रव्य हैं जिन्हे संख्याओं में गिना नहीं जाता बल्कि इन्हे तोला या फिर नापा जाता है।

Dravya Vachak Sangya Ki Paribhasha

द्रव्यवाचक संज्ञा की विशेषताएं-

  • द्रव्यवाचक संज्ञा वे अवयवी पदार्थ हैं जिनके प्रयोग से कई अन्य पदार्थ बनते हैं।
  • सभी भौतिक संज्ञाएँ भौतिक वस्तुएँ हैं। सोना, चाँदी, लकड़ी, रबर, आदि। इन सभी चीजों को मापा या तौला जा सकता है लेकिन गिना नहीं जा सकता।
  • आभूषण सोने और चाँदी से बनाये जाते हैं, फर्नीचर लकड़ी से बनाया जाता है और चाय पानी से बनाई जाती है।
  • ये अधिकतर कोयला, सीसा, एल्यूमीनियम, प्लाइवुड, रेत, कांच, फाइबर, तारकोल, कपड़ा आदि द्रव्यवाचक संज्ञा कहा जाता है.
  • द्रव्य वाचक संज्ञा में सभी कच्चे माल हैं.
  • इनमें से अधिकांश सामग्रियां प्राकृतिक हैं लेकिन कुछ मानव निर्मित भी हैं। जो प्राकृतिक है उसके स्रोत पौधे, जानवर या प्रकृति हैं।
  • ये ऐसी चीजें हैं जिन्हें इंसान नहीं बना सकता लेकिन इनका इस्तेमाल करके वह कई अन्य चीजें बना सकता है।
द्रव्यवाचक संज्ञा के उदाहरण

द्रव्यवाचक संज्ञा के उदाहरण व्याख्या सहित-

अब तक हमने आपको द्रव्यवाचक संज्ञा की परिभाषा के बारे में आपको बताया है और अब हम आपको द्रव्यवाचक संज्ञा के उदाहरण व्याख्या सहित नीचे आपको बताने वाले है-

  • मैंने हीरे की अंगूठी पहनी है।
  • यहां पर हमें हिरे शब्द से बोध हो रहा है कि यह द्रव्य है।
  • हमे रोजाना फल खाने चाहिए।
  • इस वाक्य में फल शब्द हमें एक द्रव्य का बोध करा रहा है। अतः फल एक द्रव्यवाचक संज्ञा है।
  • फल खाना सेहत के लिए बहुत अच्छा होता है।
  • यहां पर फल हमें द्रव्य होने का बोध करा रहा है।
  • मुझे पानी पीना है।
  • इस वाक्य में पानी शब्द हमें एक द्रव्य का बोध करा रहा है। अतः पानी एक द्रव्यवाचक संज्ञा है।
  • शादी में सोने के गहने मिले हैं।
  • यहां पर सोना शब्द से द्रव्य का बोध हो रहा है।
  • मुझे सोने का हार खरीदना है।
  • ऊपर दिए गए वाक्य में सोना शब्द हमें एक द्रव्य का बोध करा रहा है। अतः सोना एक द्रव्यवाचक संज्ञा है।
  • आज में हलवे में चीनी डालना भूल गई।
  • यहां पर चीनी शब्द से हमें द्रव्य होने का बोध हो रहा है।
  • इस बार गेहूँ की फसल बहुत अच्छी हुई।
  • ऊपर दिए गए वाक्य में गेहूँ शब्द हमें एक द्रव्य का बोध करा रहा है। अतः गेंहू एक द्रव्यवाचक संज्ञा है।
  • चाँदी के आभूषण बहुत सुंदर होते हैं।
  • यहां पर चाँदी से हमें द्रव्य होने का बोध हो रहा है।
  • बाज़ार से सब्ज़ी लेकर आओ।
  • इस वाक्य में सब्ज़ी शब्द हमें एक द्रव्य का बोध करा रह है। अतः सब्ज़ी एक द्रव्यवाचक संज्ञा है।
  • कल में बाजार से आम लाया था।
  • यहां पर आम द्रव्य का बोध करा रहा है।
  • मीठे व्यंजनों में चीनी इस्तेमाल की जाती है।
  • ऊपर दिए गए वाक्य में चीनी शब्द हमें एक द्रव्य का बोध करा रहा है। अतः चीनी एक द्रव्यवाचक संज्ञा है।
  • सोने के भाव लगातार बढ़ते ही जा रहे हैं।
  • यहां पर सोने से हमें द्रव्य होने का बोध हो रहा है।
  • लोहा बहुत कठोर पदार्थ है।
  • ऊपर दिए गए वाक्य में लोहा शब्द हमें एक द्रव्य का बोध करा रहा है। अतः लोहा एक द्रव्यवाचक संज्ञा है।
  • रत को दूध पीके सोना चाहिए।
  • यहां पर दूध शब्द से तरल होने का बोध हो रहा है।
  • मेरा मोबाइल मुझे वापस दो।
  • इस वाक्य में ‘मोबाइल’ द्रव्यवाचक संज्ञा का उदाहरण है, क्योंकि मोबाइल हमें किसी ठोस द्रव्य का बोध करा रहा है।
  • बिना ऑक्सीजन के हम जिंदा नहीं रह सकते।
  • यहां पर ऑक्सीजन शब्द से हमें गैस होने का बोध हो रहा है.
  • हमें स्वस्थ रहने के लिए घी खाना चाहिए।
  • ऊपर दिए गए वाक्य में घी शब्द हमें एक द्रव्य का बोध करा रहा है। अतः घी एक द्रव्यवाचक संज्ञा है।
  • आज बहुत तेज़ हवा चल रही है।
  • यहां पर हमें हवा शब्द से गैस होने का बोध हो रहा है।
  • मुझे चांदी के आभूषण पसंद हैं।
  • ऊपर दिए गए वाक्य में चांदी शब्द हमें एक द्रव्य का बोध करा रहा है। अतः चांदी एक द्रव्यवाचक संज्ञा है।

द्रव्यवाचक संज्ञा का वर्गीकरण-

वर्गीकरणद्रव्य संज्ञा से जुडी वस्तुएं
प्रकृति से जुडी द्रव्य संज्ञा तांबा, रेत, कोयला, चट्टान, धूप, वर्षा, पृथ्वी, जल, वायु, चांदी, सोना, लोहा आदि।
जानवरों से जुडी द्रव्य संज्ञा रेशम, चमड़ा, ऊन, अंडा, मांस, शहद, दूध आदि।
पौधों से द्रव्यवाचक संज्ञाएँजूट, कॉफी, दवा, चाय, रबर, इत्र, कपास, भोजन, तेल, लकड़ी आदि।
मानव निर्मित जुडी द्रव्य संज्ञासीमेंट, मक्खन, घी, एसिड, शराब, ईंट, पनीर आदि।

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निकर्ष-

जैसा की आज हमने आपको Dravya Vachak Sangya Ki Paribhasha | द्रव्यवाचक संज्ञा की परिभाषा, द्रव्यवाचक संज्ञा के उदाहरण जानकारी के बारे में आपको बताया है.

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